क्या वाणिज्यिक कोयला ब्लॉकों की नीलामी के 14वें दौर में 24 ब्लॉकों के लिए 49 बोलियां मिलीं?
सारांश
Key Takeaways
- 24 कोयला ब्लॉकों के लिए 49 बोलियां प्राप्त हुईं।
- 11 कंपनियों ने इस नीलामी में भाग लिया।
- नई कंपनियों की भागीदारी नीतिगत ढांचे में विश्वास को दर्शाती है।
- बोलियों का मूल्यांकन एक विशेष समिति द्वारा किया जाएगा।
- कोयला क्षेत्र आर्थिक विकास का एक प्रमुख चालक है।
नई दिल्ली, 23 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। कोयला मंत्रालय ने मंगलवार को जानकारी दी कि वाणिज्यिक कोयला ब्लॉकों की नीलामी के 14वें दौर में उसे 24 कोयला ब्लॉकों के लिए 49 बोलियां प्राप्त हुई हैं।
कोयला मंत्रालय द्वारा जारी एक बयान में कहा गया है कि नामित प्राधिकरण ने वाणिज्यिक कोयला ब्लॉकों की नीलामी के 14वें चरण के लिए बोलियों का आमंत्रण दिया। इस प्रक्रिया में उद्योग के हितधारकों की उत्साहजनक भागीदारी देखने को मिली। इस चरण में 41 ब्लॉक में से 24 ब्लॉक के लिए बोलियां प्राप्त हुईं, जो देश के वाणिज्यिक कोयला खनन ढांचे में उद्योग की निरंतर रुचि को दर्शाता है।
मंत्रालय ने आगे कहा कि ऑनलाइन बोलियों को डिक्रिप्ट किया गया और बोलीदाताओं की उपस्थिति में इलेक्ट्रॉनिक तरीके से खोला गया। इसके बाद, ऑफलाइन बोली दस्तावेजों के सीलबंद लिफाफे भी बोलीदाताओं की उपस्थिति में खोले गए। पूर्ण पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए पूरी प्रक्रिया को बोलीदाताओं के लिए स्क्रीन पर लाइव प्रदर्शित किया गया। इस दौर में, 41 कोयला ब्लॉक में से 24 कोयला ब्लॉक के लिए 49 बोलियां प्राप्त हुई हैं।
नीलामी प्रक्रिया में वाणिज्यिक कोयला खनन व्यवस्था के तहत पहली बार बोली लगाने वाली पांच नई कंपनियों सहित कुल 11 कंपनियों ने भाग लिया। वाणिज्यिक कोयला ब्लॉक नीलामी में नई कंपनियों की भागीदारी नीतिगत ढांचे में बढ़ते विश्वास और देश के कोयला क्षेत्र में बढ़ते अवसरों को दर्शाती है। भारत की विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में आगे बढ़ने के साथ-साथ कोयला क्षेत्र आर्थिक गति का एक प्रमुख चालक बना हुआ है।
मंत्रालय के अनुसार, अब बोलियों का मूल्यांकन एक बहु-विषयक तकनीकी मूल्यांकन समिति द्वारा किया जाएगा। तकनीकी रूप से योग्य बोलीदाताओं को एमएसटीसी पोर्टल पर आयोजित होने वाली इलेक्ट्रॉनिक नीलामी में भाग लेने के लिए शॉर्टलिस्ट किया जाएगा।
वाणिज्यिक कोयला ब्लॉक की नीलामी के प्रति निरंतर मिल रही सकारात्मक प्रतिक्रिया औद्योगिक विकास को समर्थन देने, ऊर्जा सुरक्षा को मजबूत करने और भारत को विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में योगदान देने में कोयला क्षेत्र की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करती है।