क्या 'एक राष्ट्र, एक चुनाव' से देश का विकास तेज गति से होगा?

सारांश
Key Takeaways
- ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ से विकास कार्यों में तेजी आएगी।
- बार-बार चुनावों से होने वाली बर्बादी कम होगी।
- मतदाता सूची में विवाद समाप्त होंगे।
- करदाताओं का पैसा बचाने में मदद मिलेगी।
- सभी वर्गों का समर्थन इस पहल को प्राप्त है।
नई दिल्ली, 23 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ को देश की प्रगति और विकास के लिए अत्यंत आवश्यक बताते हुए इसका समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि बार-बार होने वाले चुनावों से देश के संसाधनों, समय और ऊर्जा की बर्बादी होती है, जिससे विकास कार्यों में बाधा उत्पन्न होती है।
मीडिया से बातचीत के दौरान, उन्होंने बार-बार चुनावों को देश के विकास के लिए सबसे बड़ी बाधा माना। उनका कहना है कि आज सभी वर्ग ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ के समर्थन में सामने आ रहे हैं। सभी का मानना है कि इससे देश का विकास तेजी से होगा और चुनावों के कारण होने वाले विवाद समाप्त होंगे।
उन्होंने कहा कि ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ राष्ट्रहित में है और इसे जनता भी स्वीकार कर रही है।
एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने उल्लेख किया कि चुनावों के समय कलेक्टर सभी को ड्यूटी पर लगाते हैं, जो चुनाव आयोग के अधीन होते हैं। शिक्षक और इंस्पेक्टर सभी मतदाता सूची तैयार करने में व्यस्त हो जाते हैं। यदि हर 5 साल में एक बार चुनाव होंगे, तो मतदाता सूची एक बार ही बनेगी, जिससे विवाद खत्म हो जाएगा। हर 4 महीने में चुनाव होने के कारण, अनुमान है कि 5 साल में इन चुनावों पर 4.5 लाख करोड़ रुपए से अधिक खर्च हो चुके हैं, और यह राशि लगातार बढ़ रही है। यह 7 लाख करोड़ तक पहुंच सकती है।
उन्होंने कहा कि यह करदाताओं का पैसा है। इसलिए, ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ देशहित में है।
केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के नेता तेजस्वी यादव के खिलाफ सोशल मीडिया पर की गई टिप्पणियों पर कड़ा जवाब दिया।
उन्होंने कहा कि पीएम मोदी देशवासियों के दिलों में बसे हुए हैं और लोग उन्हें सम्मान के साथ देखते हैं। तेजस्वी के बयान को निंदनीय करार देते हुए उन्होंने कहा कि ऐसी आपत्तिजनक टिप्पणियाँ उचित नहीं हैं।