क्या मध्य प्रदेश में अवैध कॉलोनियों के निर्माण पर अधिकारी होंगे जिम्मेदार? : कैलाश विजयवर्गीय
                                सारांश
Key Takeaways
- अवैध कॉलोनियों पर रोक लगाने के लिए अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराया जाएगा।
 - इंदौर में शहर के विकास के लिए ठोस कार्य-योजना बनाने की आवश्यकता है।
 - बैठक में विभिन्न योजनाओं की समीक्षा की गई।
 - अवैध नल कनेक्शन को सख्ती से काटने के निर्देश दिए गए।
 - ट्रैफिक और ट्रांसपोर्ट प्लान में सुधार की दिशा में कदम उठाए जाएंगे।
 
इंदौर, 3 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। मध्य प्रदेश में अवैध कॉलोनियों का निर्माण सरकार के लिए बड़ी चुनौती बनता जा रहा है। राज्य के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने स्पष्ट किया कि यदि अवैध कॉलोनियों का निर्माण होता है, तो इसके लिए अधिकारी जिम्मेदार होंगे और उनके खिलाफ आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
इंदौर में आयोजित एक बैठक में मंत्री विजयवर्गीय ने कहा कि नगरीय क्षेत्र में अवैध कॉलोनियों के निर्माण से संबंधित क्षेत्र के अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए जिम्मेदारी तय की जाएगी। उन्होंने अवैध कॉलोनियों के निर्माण पर पूर्ण रोक लगाने के लिए व्यापक स्तर पर अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं।
उन्होंने बताया कि इंदौर प्रदेश का पहला आत्मनिर्भर शहर है, जो अपने नवाचारों के माध्यम से निरंतर प्रगति कर रहा है। उन्होंने इंदौर नगर निगम को राजस्व आय में वृद्धि और खर्च में कमी लाने के लिए ठोस कार्य-योजना बनाने का भी निर्देश दिया।
मंत्री विजयवर्गीय ने इंदौर महापौर की प्रशंसा करते हुए कहा कि उनके कार्यकाल में वर्ष 2040 तक की दृष्टि को ध्यान में रखते हुए नर्मदा नदी के चौथे चरण की योजना पर कार्य किया जा रहा है। बैठक में इंदौर मेट्रो के खजराना से पलासिया होते हुए बड़ा गणपति तक अंडरग्राउंड रूट के प्रस्ताव को सर्व-सम्मति से मंजूरी दी गई।
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि इंदौर शहर का ट्रैफिक और ट्रांसपोर्ट प्लान इस तरह से तैयार किया जाए कि इंदौर की आर्थिक तरक्की को इससे और भी गति मिले। बैठक में अमृत योजना, प्रधानमंत्री आवास योजना, स्वच्छ भारत मिशन, प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना, फ्यूल एफीशिएंसी, और इंदौर स्मार्ट सिटी मिशन के अंतर्गत योजनाओं की बिन्दुवार समीक्षा की गई।
बैठक में नगरीय सीमा में शामिल 29 गांवों में पेयजल आपूर्ति व्यवस्था को सुदृढ़ करने और सड़कों की चौड़ाई सुनिश्चित करने पर भी चर्चा की गई। बैठक में निर्देश दिए गए कि शहर में अवैध नल कनेक्शन को सख्ती से काटा जाए।
अपर मुख्य सचिव संजय दुबे ने कहा कि विकास कार्यों को गति देने के लिए टेंडर प्रक्रिया की समय-सीमा निश्चित की जाए। शहर में रिक्त भूमि को आकर्षक डिजाइन के साथ विकसित करने से नगर निगम की आय में वृद्धि होगी।
बैठक में सांसद कविता पाटीदार, महापौर पुष्यमित्र भार्गव, विधायक मधु वर्मा, महेंद्र हार्डिया, गोलू शुक्ला और अपर मुख्य सचिव नगरीय विकास एवं आवास विभाग संजय दुबे मुख्य रूप से उपस्थित थे।