क्या पीरपैंती पावर प्लांट में एक पेड़ के बदले तीन पेड़ लगाए जा रहे हैं?
सारांश
Key Takeaways
- पीरपैंती पावर प्लांट का निर्माण जारी है।
- एक पेड़ के बदले तीन नए पौधे लगाए जाएंगे।
- पेड़ों की सुरक्षा के लिए विशेष प्रावधान किए गए हैं।
- स्थानीय लोगों की चिंताओं का ध्यान रखा जा रहा है।
- पर्यावरण के प्रति संवेदनशीलता आवश्यक है।
भागलपुर, 24 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार के भागलपुर के पीरपैंती में प्रस्तावित पावर प्लांट के निर्माण के लिए बिहार सरकार द्वारा अधिग्रहित भूमि से पेड़ हटाने का कार्य जारी है। इस प्रक्रिया में बड़े पैमाने पर पेड़ों को हटाया जा रहा है।
पेड़ कटाई के कारण आम किसानों की चिंताएं भी बढ़ रही हैं। जहाँ कुछ लोगों को उम्मीद है कि पावर प्लांट से उन्हें रोजगार मिलेगा, वहीं दूसरी ओर स्थानीय निवासी और पर्यावरणविद् पेड़ों की कटाई को लेकर चिंतित हैं।
इस संदर्भ में भागलपुर के जिलाधिकारी डॉ. नवल किशोर चौधरी ने राष्ट्र प्रेस से कहा कि पेड़ों की कटाई के बाद नए पौधे बड़े पैमाने पर लगाए जा रहे हैं।
जिलाधिकारी ने बताया कि बिहार सरकार के नियमों के अनुसार, जितने भी पेड़ हटाए जाएंगे, उनके बदले तीन गुना नए पौधे लगाने का प्रावधान है। इन पौधों के देखभाल के लिए निर्धारित राशि भी वन विभाग को कंपनी द्वारा जमा की जा चुकी है।
उन्होंने कहा कि इस राशि में पौधों की देखभाल, उनकी सुरक्षा और सूखने वाले पेड़ों के स्थान पर नए पौधे लगाने का भी ध्यान रखा गया है। पीरपैंती क्षेत्र में जहां पावर प्लांट का निर्माण होगा, वहां सभी नियमों का पालन किया जा रहा है।
उन्होंने यह भी कहा कि जब नए पौधे लगाए जाएंगे, तो उनकी ऊंचाई तीन से पांच फीट तक की होगी और उनकी गुणवत्ता पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। सिर्फ पौधे नहीं लगाए जाएंगे, बल्कि उनकी देखभाल के लिए एक व्यक्ति को भी नियुक्त किया जाएगा ताकि उनकी पूर्ण सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।
पावर प्लांट के लिए कटे गए पेड़ों के लिए भी यही नियम लागू होते हैं। वास्तव में, जहां भी पेड़ काटे जाते हैं, वहां तीन गुना पौधे लगाने की अनिवार्यता होती है, जिसका पालन यहां भी किया जा रहा है।