क्या सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने प्रिंट मीडिया की विज्ञापन दरों में 26 प्रतिशत की वृद्धि को मंजूरी दी?

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क्या सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने प्रिंट मीडिया की विज्ञापन दरों में 26 प्रतिशत की वृद्धि को मंजूरी दी?

सारांश

सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने प्रिंट मीडिया के लिए विज्ञापन दरों में 26% की वृद्धि को मंजूरी दी है। यह कदम प्रिंट मीडिया की वित्तीय स्थिरता को बढ़ाएगा और सरकार द्वारा जारी विज्ञापनों की दर संरचना को मजबूत करेगा। जानें इस बदलाव से प्रिंट मीडिया को कैसे मिलेगा लाभ।

Key Takeaways

  • विज्ञापन दरों में 26% की वृद्धि
  • रंगीन विज्ञापनों के लिए प्रीमियम दरें
  • प्रिंट मीडिया की वित्तीय स्थिरता
  • गुणवत्तापूर्ण पत्रकारिता को बढ़ावा
  • संशोधन केंद्रीय संचार ब्यूरो के तहत

नई दिल्ली, 17 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने प्रिंट मीडिया के पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने और सरकारी विज्ञापनों की दर संरचना में संशोधन को मंजूरी दी है।

मंत्रालय द्वारा किए गए इस संशोधन में सरकारी विज्ञापनों की दरों में 26 प्रतिशत की वृद्धि की घोषणा की गई है। इसके साथ ही, रंगीन विज्ञापनों के लिए नई प्रीमियम दरें और तरजीही स्थिति को लागू किया गया है।

सरकारी विज्ञापनों की दरें प्रति वर्ग सेमी में बढ़ाकर 47.40 रुपए से 59.68 रुपए कर दी गई हैं, जो 26 प्रतिशत की वृद्धि है। यह दरें दैनिक समाचार पत्रों की एक लाख प्रतियों के लिए श्वेत-श्याम विज्ञापनों के संदर्भ में लागू होंगी। मंत्रालय ने रंगीन विज्ञापनों के लिए अलग से प्रीमियम दरों को मंजूरी दी है, जो मीडिया संस्थानों को अतिरिक्त राजस्व अर्जित करने का अवसर प्रदान करेगी।

प्रिंट मीडिया के लिए दर संरचना में यह संशोधन केंद्रीय संचार ब्यूरो (सीबीसी) के तहत किया गया है। सीबीसी भारत सरकार के विभिन्न मंत्रालयों और विभागों के लिए प्रचार अभियानों का संचालन करता है। इससे पहले, प्रिंट मीडिया में विज्ञापन दरों को अंतिम बार 2019 में संशोधित किया गया था। अब, 9वीं दर संरचना समिति की सिफारिशों पर आधारित यह नई दर संरचना लागू की जा रही है।

समिति ने मुद्रास्फीति, न्यूजप्रिंट की कीमतें, वेतन और अन्य लागतों पर विचार करते हुए ये सिफारिशें की हैं।

समिति ने छोटे, मध्यम और बड़े समाचार पत्रों के संघों, जैसे भारतीय समाचार पत्र सोसायती (आईएनएस) और अखिल भारतीय लघु समाचार पत्र संघ (एआईएसएनए) के सुझावों पर भी ध्यान दिया। इन संशोधनों से प्रिंट मीडिया को जरूरी वित्तीय सहायता मिलेगी, जिससे समाचार पत्र अपने संचालन को बनाए रखते हुए गुणवत्तापूर्ण पत्रकारिता कर सकेंगे।

विज्ञापन दरों में यह वृद्धि प्रिंट मीडिया को अन्य मीडिया प्लेटफार्मों के मुकाबले मजबूत बनाएगी और मीडिया की वित्तीय स्थिरता में मदद करेगी। इससे प्रिंट मीडिया में बेहतर सामग्री का निर्माण हो सकेगा और जनहित में प्रभावी रूप से योगदान किया जा सकेगा। सरकार इस कदम के माध्यम से प्रिंट मीडिया के महत्व को मान्यता देती है और संचार रणनीतियों को प्रभावी ढंग से लक्षित कर सकती है।

Point of View

यह कहना उचित है कि प्रिंट मीडिया की विज्ञापन दरों में यह वृद्धि न केवल वित्तीय सहायता प्रदान करेगी, बल्कि गुणवत्ता पत्रकारिता को भी बढ़ावा देगी। यह कदम प्रिंट मीडिया उद्योग की स्थिरता के लिए आवश्यक है, खासकर जब डिजिटल प्लेटफार्मों पर प्रतिस्पर्धा बढ़ रही है।
NationPress
17/11/2025

Frequently Asked Questions

प्रिंट मीडिया की विज्ञापन दरों में वृद्धि का मुख्य कारण क्या है?
विज्ञापन दरों में वृद्धि का मुख्य कारण प्रिंट मीडिया के पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करना और मुद्रास्फीति, न्यूजप्रिंट की कीमतों तथा अन्य लागतों पर विचार करना है।
इस वृद्धि से प्रिंट मीडिया को क्या लाभ होगा?
इस वृद्धि से प्रिंट मीडिया को वित्तीय स्थिरता मिलेगी, जिससे वे गुणवत्ता पत्रकारिता को बनाए रख सकेंगे।
क्या यह दरें केवल दैनिक समाचार पत्रों पर लागू होंगी?
हां, ये दरें दैनिक समाचार पत्रों की एक लाख प्रतियों के लिए श्वेत-श्याम विज्ञापनों के संदर्भ में लागू होंगी।
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