क्या सूरत में एक्वा योगा से जीवनशैली में सुधार हो सकता है?

सारांश
Key Takeaways
- एक्वा योगा पानी में योगाभ्यास करने का एक अनोखा तरीका है।
- यह मानसिक शांति और संतुलन में सुधार करता है।
- स्वस्थ जीवन के लिए योग अपनाना आवश्यक है।
- योग से रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है।
- अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर लोगों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।
गांधीनगर, 21 जून (राष्ट्र प्रेस)। 21 जून को विश्वभर में 11वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस उत्साह के साथ मनाया गया। गुजरात में भी इस दिन विभिन्न शहरों में योग कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिसमें सूरत का ‘एक्वा योगा’ यानी तरण ताल में किया गया योग आकर्षण का केंद्र बना। सूरत से कच्छ, जामनगर, राजकोट और वडोदरा तक, लोगों ने योग को अपनाकर स्वस्थ जीवन का संदेश दिया।
सूरत के सरथाणा डोम में आयोजित योग कार्यक्रम में हजारों लोगों ने भाग लिया। इस दौरान अनोखे ‘एक्वा योगा’ का प्रदर्शन किया गया, जिसमें लोगों ने स्वीमिंग पूल में पद्मासन, शीर्षासन, शवासन, पश्चिमोत्तानासन और बकासन जैसे योग आसनों का प्रदर्शन किया।
एक्वा योगा इंस्ट्रक्टर रितेश दारूवाला ने कहा, इसे वाटर योगा के नाम से भी जाना जाता है। इस योग से सांस और संतुलन में सुधार होता है, जिससे न्यूरो संबंधी समस्याओं में राहत मिलती है।
उन्होंने कहा, "वाटर योगा से मानसिक शांति मिलती है और बीमारियों के होने की संभावना कम होती है।"
डॉ. मनीष गोण्डलिया ने समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस को इसकी विशेषताओं के बारे में बताया। उन्होंने कहा, "वाटर योगा से रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है, मांसपेशियों को व्यायाम मिलता है और मानसिक शांति प्राप्त होती है। जब पूरा विश्व भारत की संस्कृति को अपनाकर योग कर रहा है, तो हमें भी इसे अपनाना चाहिए। स्वस्थ शरीर ही राष्ट्र की प्रगति का आधार है।"
सूरत में आयोजित इस कार्यक्रम में गुजरात सरकार के वन एवं पर्यावरण मंत्री मुकेश पटेल, विधायक, जिला प्रशासन के अधिकारी और शहर के विभिन्न क्षेत्रों से आए लोग शामिल हुए।
मंत्री मुकेश पटेल ने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व को योगमय बनाया है। गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने 'स्वस्थ गुजरात, मोटापा मुक्त गुजरात' का संकल्प लिया है, जो सालभर चलेगा। सूरतवासियों ने योग के माध्यम से कई रिकॉर्ड बनाए हैं। मैं सभी से योग को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाने की अपील करता हूं।"
कच्छ जिले में भी अंतरराष्ट्रीय योग दिवस धूमधाम से मनाया गया। भुज के स्मृतिवन में जिला स्तरीय समारोह जल संसाधन एवं जलापूर्ति मंत्री कुंवरजीभाई बावलिया की अध्यक्षता में हुआ। इस कार्यक्रम में सांसद विनोद चावड़ा, विधायक केशुभाई पटेल, कलेक्टर, डीडीओ, डीआईजी और एसपी सहित कई गणमान्य लोग मौजूद रहे।
कच्छ कलेक्टर आनंद पटेल ने बताया, "जिले की 2,000 से अधिक जगहों पर योग कार्यक्रम आयोजित किए गए। भारत ने योग के माध्यम से विश्व रिकॉर्ड बनाया है। कच्छ में हर तालुका स्तर पर लोगों ने उत्साह के साथ योग किया।"
जामनगर के आयुर्वेद शिक्षा एवं अनुसंधान संस्थान (आईटीआरए) में "योग संगम" थीम के तहत योग दिवस मनाया गया। कार्यक्रम में सांसद पूनमबेन माडम विशेष रूप से मौजूद रहीं।
उन्होंने कहा, "योग को दैनिक जीवन का हिस्सा बनाना चाहिए। यह न केवल शारीरिक, बल्कि मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी लाभकारी है।"
आईटीआरए में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विशाखापट्टनम में आयोजित योगाभ्यास का सीधा प्रसारण धन्वंतरि मैदान में दिखाया गया। इसके बाद सामान्य योग प्रोटोकॉल के तहत योगाभ्यास हुआ। संस्थान के विद्यार्थियों ने योग नृत्य और मंचीय प्रस्तुतियां दीं। आईटीआरए निदेशक प्रो. तनुजा नेसरी ने लोगों से नियमित योग करने की अपील की।
योग विशेषज्ञ प्रो. वैद्य अर्पण भट्ट ने कहा, "योग एक ऐसी प्रणाली है जो शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाती है। भारत की यह प्राचीन परंपरा आज विश्वभर में लोकप्रिय हो रही है।"
वडोदरा में 11वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस महानगरपालिका द्वारा 36 स्थानों पर भव्य रूप से मनाया गया। केंद्रीय जल शक्ति मंत्री सी.आर. पाटिल ने शहर के इनडोर स्टेडियम में आयोजित मुख्य कार्यक्रम में हिस्सा लिया।
म्युनिसिपल कमिश्नर अरुण महेश बाबू ने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में योग विश्व स्तर पर पहचान बना चुका है। वडोदरा में 36 जगहों पर योग कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिसमें सभी ने उत्साहपूर्वक हिस्सा लिया।"
गुजरात राज्य योग बोर्ड की कोऑर्डिनेटर डॉ. मीनाक्षी परमार ने बताया, "वडोदरा में योग कार्यक्रमों में लोगों की खुशी देखी जा रही थी। योग को जीवन का हिस्सा बनाकर हम स्वस्थ रह सकते हैं।"