क्या तेजस्वी यादव को नायक बताना है नायक शब्द का अपमान?
सारांश
Key Takeaways
- जीतन राम मांझी ने तेजस्वी यादव को नायक बताने पर कड़ी प्रतिक्रिया दी।
- तेजस्वी यादव ने बिहार के विकास के लिए कई वादे किए हैं।
- बिहार की जनता जंगलराज नहीं चाहती है।
- चुनाव प्रचार तेज गति से चल रहा है।
- बिहार में नए बदलाव की आवश्यकता है।
नई दिल्ली, 26 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने रविवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट के माध्यम से राष्ट्रीय जनता दल (राजद) नेता तेजस्वी यादव पर तीखा हमला किया। मांझी ने तेजस्वी को नायक के रूप में पेश किए जाने पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए इसे नायक शब्द का अपमान करार दिया।
मांझी ने अपनी पोस्ट में लिखा कि नालायक को नायक बताना 'नायक' शब्द का अपमान है।
शनिवार को राजद के पटना स्थित केंद्रीय कार्यालय के बाहर एक बड़ा पोस्टर लगाया गया था, जिसमें तेजस्वी यादव को 'बिहार का नायक' बताया गया है। यह पोस्टर महागठबंधन द्वारा तेजस्वी को मुख्यमंत्री पद के चेहरे के रूप में घोषित करते ही लगाया गया है।
जीतन राम मांझी ने तेजस्वी पर तंज करते हुए कहा कि सपने देखना अच्छी बात है, लेकिन तेजस्वी के सपने पूरे नहीं हो सकते हैं क्योंकि बिहार की जनता को विकास चाहिए, और वे दोबारा जंगलराज नहीं चाहती।
उन्होंने यह भी कहा कि बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए प्रचंड बहुमत से सरकार बनाएगी। दूसरी ओर, चुनावी प्रचार तेज गति से आगे बढ़ रहा है।
तेजस्वी यादव ने कहा है कि यदि वे मुख्यमंत्री बनते हैं, तो बिहार के लोग भी मुख्यमंत्री बनेंगे। वे अपराध और भ्रष्टाचार मुक्त बिहार का निर्माण करेंगे। पढ़ाई, दवाई, कमाई, सिंचाई, सुनवाई और कार्रवाई जैसी सरकारी योजनाओं का निर्माण करेंगे।
तेजस्वी ने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि बिहार में बदलाव की आवश्यकता है। यह नया बिहार बनाने का चुनाव है। पिछले दो दशकों की सरकार ने बिहार की दो पीढ़ियों को बर्बाद किया है। तेजस्वी ने कहा कि उन्होंने कभी किसी का कुछ नहीं बिगाड़ा है और वे सिर्फ एक मौका मांग रहे हैं। आपने एनडीए को 20 साल दिए, हमें बस 20 महीने दीजिए। हम मिलकर नया बिहार बनाएंगे और बिहारियों के जीवन में गुणात्मक परिवर्तन लाएंगे।