क्या यूएई के सैन्य कमांडर का भारत दौरा, भारतीय सेना ने दी 'ऑपरेशन सिंदूर' की जानकारी?

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क्या यूएई के सैन्य कमांडर का भारत दौरा, भारतीय सेना ने दी 'ऑपरेशन सिंदूर' की जानकारी?

सारांश

संयुक्त अरब अमीरात के मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी का भारत दौरा, दोनों देशों के बीच सैन्य सहयोग को और बढ़ाने में सहायक। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य द्विपक्षीय संबंधों को गहरा करना था।

Key Takeaways

  • भारत और यूएई के बीच सैन्य सहयोग को नया आयाम मिला।
  • मेजर जनरल अल हल्लामी ने ऑपरेशन सिंदूर पर विस्तृत जानकारी प्राप्त की।
  • नेशनल वॉर मेमोरियल पर शहीदों को सम्मानित किया गया।
  • ड्रोन और काउंटर-ड्रोन सिस्टम पर चर्चाएं हुईं।
  • इस यात्रा ने दोनों देशों की दृढ़ साझेदारी को और मजबूत किया।

नई दिल्ली, 28 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) की थलसेना के कमांडर मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी ने भारत का दौरा किया है। मंगलवार को उनकी यह आधिकारिक यात्रा समाप्त हुई। यह यात्रा दोनों देशों की सेनाओं के बीच दीर्घकालिक संबंधों को और मजबूत करने में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुई है।

भारत यात्रा के दौरान मेजर जनरल अल हल्लामी ने भारतीय थलसेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी से भेंट की। इस बातचीत में दोनों सेनाओं के बीच सहयोग को और बढ़ाने तथा नई संभावनाओं की खोज पर चर्चा हुई। उन्हें ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान की गई। इसके अलावा, उन्हें भारतीय सेना की डिजिटल क्षमता से भी अवगत कराया गया।

सूचना प्रणाली निदेशालय और आर्मी डिजाइन ब्यूरो ने उन्हें भारतीय सेना के आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस रोडमैप के बारे में भी बताया। इस दौरान दोनों देशों की सेनाओं के वरिष्ठ अधिकारियों के बीच कई महत्वपूर्ण मुलाकातें हुईं। इन चर्चाओं ने द्विपक्षीय सैन्य सहयोग, आदान-प्रदान और रणनीतिक क्षेत्रों में साझेदारी को और मजबूत करने का प्रयास किया है।

भारत यात्रा के दौरान, मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी ने नई दिल्ली में स्थित नेशनल वॉर मेमोरियल पर शहीद वीरों को श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने भारतीय सशस्त्र बलों के बलिदान को नमन करते हुए पुष्पचक्र अर्पित किया। इसके अलावा, उन्होंने रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) का दौरा किया, जहां उन्होंने रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव एवं डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ. समीर वी. कामत से मुलाकात की। इस अवसर पर उन्हें भारत के आत्मनिर्भर भारत कार्यक्रम के अंतर्गत विकसित स्वदेशी हथियारों और उपकरणों की जानकारी दी गई।

मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी को ड्रोन एवं काउंटर-ड्रोन सिस्टम, विस्फोटक और मिसाइल प्रणाली, तोपखाना प्रणाली तथा टैंकों के लिए रिएक्टिव आर्मर से संबंधित प्रस्तुतियां दी गईं। उन्होंने भारतीय रक्षा उद्योग के प्रतिनिधियों से भी मुलाकात की और आपसी सहयोग के संभावित क्षेत्रों पर चर्चा की।

यह यात्रा भारत और संयुक्त अरब अमीरात की सेनाओं के बीच विश्वास, सहयोग और साझेदारी को नई दिशा देने में सफल रही। यह यात्रा दोनों देशों की सेनाओं के बीच गहरे मित्रतापूर्ण संबंधों को और सशक्त बनाने की साझा प्रतिबद्धता का प्रतीक है।

मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी 27 और 28 अक्टूबर तक भारत की आधिकारिक यात्रा पर रहे। इस उच्चस्तरीय यात्रा का उद्देश्य द्विपक्षीय सैन्य सहयोग को बढ़ाना और विशेष रूप से प्रशिक्षण एवं क्षमता संवर्धन के क्षेत्रों में नए अवसरों की खोज करना था। रक्षा मंत्रालय का मानना है कि यह यात्रा दोनों देशों की दीर्घकालिक रक्षा साझेदारी को मजबूत बनाने के निरंतर प्रयासों को रेखांकित करती है।

Point of View

जो दीर्घकालिक रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है।
NationPress
28/10/2025

Frequently Asked Questions

यूएई के सैन्य कमांडर ने भारत यात्रा का क्या उद्देश्य बताया?
यात्रा का मुख्य उद्देश्य द्विपक्षीय सैन्य सहयोग को बढ़ाना और विशेष रूप से प्रशिक्षण एवं क्षमता संवर्धन के क्षेत्रों में नए अवसरों की खोज करना था।
ऑपरेशन सिंदूर के बारे में क्या जानकारी दी गई?
मेजर जनरल अल हल्लामी को 'ऑपरेशन सिंदूर' के संबंध में विस्तृत जानकारी प्रदान की गई, जो दोनों सेनाओं के बीच सहयोग को बढ़ाने में सहायक है।
मेजर जनरल अल हल्लामी ने किस महत्वपूर्ण स्थान पर श्रद्धांजलि अर्पित की?
उन्होंने नई दिल्ली स्थित नेशनल वॉर मेमोरियल पर शहीद वीरों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
क्या मेजर जनरल अल हल्लामी ने किसी तकनीकी प्रणाली के बारे में जानकारी ली?
हाँ, उन्हें ड्रोन और काउंटर-ड्रोन सिस्टम, विस्फोटक और मिसाइल प्रणाली, तोपखाना प्रणाली तथा रिएक्टिव आर्मर से संबंधित प्रस्तुतियां दी गईं।
इस यात्रा के दौरान क्या महत्वपूर्ण बातें हुईं?
यात्रा के दौरान कई महत्वपूर्ण मुलाकातें हुईं, जो द्विपक्षीय सैन्य सहयोग को सुदृढ़ करने का प्रयास कर रही थीं।