क्या अमेरिकी फेड के ब्याज दरों में कटौती के बाद एमसीएक्स पर सोना-चांदी की कीमतें गिर गईं?
सारांश
Key Takeaways
- अमेरिकी फेड ने ब्याज दरों में 25 बेसिस प्वाइंट की कटौती की है।
- सोने और चांदी की कीमतों में तेज गिरावट आई है।
- फेड की सतर्क नीति के कारण निवेशकों में दुविधा है।
- डॉलर के कमजोर होने से सोने की कीमत में उछाल आया है।
- अमेरिका-चीन व्यापार वार्ता पर निवेशकों की नज़र है।
मुंबई, 30 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में 25 बेसिस प्वाइंट की कटौती के बाद गुरुवार के कारोबारी दिन मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज पर सोने और चांदी की कीमतों में तेज गिरावट देखने को मिली।
फेड चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने इस बार दिसंबर की बैठक में ब्याज दरों में कटौती के संकेत नहीं दिए। निवेशकों ने फेड के सतर्क रुख के चलते आने वाले समय में ब्याज दरों में संभावित कटौती का आकलन किया, जिसके कारण धातुओं की कीमतों में यह गिरावट आई।
एमसीएक्स पर सोने का वायदा भाव पिछले बंद भाव 1,20,666 रुपए प्रति 10 ग्राम के मुकाबले 1.27 प्रतिशत गिरकर 1,19,125 रुपए प्रति 10 ग्राम पर खुला।
वहीं, चांदी की कीमतें भी पिछले बंद भाव 1,46,081 रुपए प्रति किलोग्राम के मुकाबले 0.4 प्रतिशत गिरकर 1,45,498 रुपए प्रति किलोग्राम पर खुलीं।
सुबह लगभग 9:42 बजे तक, सोने की कीमतों में और गिरावट आई और यह 1,827 रुपए या 1.51 प्रतिशत घटकर 1,18,839 रुपए प्रति 10 ग्राम पर कारोबार कर रहा था। चांदी भी 1,411 रुपए या 0.97 प्रतिशत गिरकर 1,44,670 रुपए प्रति किलोग्राम पर थी।
ग्लोबल मार्केट में अमेरिकी डॉलर में मामूली गिरावट के कारण सोने की कीमतों में थोड़ी बढ़ोतरी दर्ज की गई।
स्पॉट गोल्ड 0.2 प्रतिशत बढ़कर 3,937.88 डॉलर प्रति औंस हो गया, जबकि दिसंबर डिलीवरी के लिए यूएस गोल्ड फ्यूचर 1.2 प्रतिशत गिरकर 3,950.70 डॉलर प्रति औंस हो गया।
पिछले सत्र में दो हफ्तों के उच्चतम स्तर पर पहुंचने के बाद डॉलर इंडेक्स 0.2 प्रतिशत गिर गया, जिससे अन्य करेंसी रखने वाले निवेशकों के लिए सोना सस्ता हो गया।
अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने बीते बुधवार को ब्याज दरों में कटौती की घोषणा की, जिससे बेंचमार्क रेट 3.75 प्रतिशत से 4 प्रतिशत के दायरे में आ गई हैं।
वैश्विक स्तर पर निवेशक अमेरिका और चीन के बीच हो रहे घटनाक्रमों पर भी नजर रखे हुए हैं। निवेशक अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच ट्रेड डील पर बातचीत का इंतजार कर रहे हैं।
एक्सपर्ट्स ने कहा, "फेड चेयरमैन के आगे और ढील देने पर सतर्क रुख के कारण प्रॉफिट बुकिंग हुई। इसके अलावा, आने वाली अमेरिका-चीन ट्रेड बातचीत को लेकर आशावाद ने सेफ-हेवन डिमांड को कम कर दिया।"