क्या ट्रंप ने ईरान को दी चेतावनी: 'अगर हम पर हमला हुआ, तो अमेरिकी सेना पूरी ताकत से आप पर टूट पड़ेगी'?

सारांश
Key Takeaways
- ट्रंप ने ईरान को चेतावनी दी कि हमला होने पर अमेरिकी सेना पूरी ताकत से जवाब देगी।
- ईरान और इजरायल के बीच तनाव बढ़ रहा है।
- इजरायली सेना ने ईरानी ठिकानों पर हमलों की पुष्टि की है।
- बेंजामिन नेतन्याहू का कहना है कि यह ऑपरेशन जारी रहेगा।
- ट्रंप की चेतावनी के बाद ईरान को समझौता करने की जरूरत है।
न्यूयॉर्क, 15 जून (राष्ट्र प्रेस)। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ईरान को एक सख्त चेतावनी जारी की है। ईरान और इजरायल के बीच बढ़ते तनाव के संदर्भ में, ट्रंप ने रविवार को यह स्पष्ट किया है कि अमेरिका हालिया हमलों में शामिल नहीं है। इसके साथ ही, उन्होंने चेतावनी दी कि अमेरिकी हितों के खिलाफ किसी भी उकसावे का कड़ा जवाब दिया जाएगा।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रुथ पर ट्रंप ने लिखा, "ईरान पर हुए हमले में अमेरिका का कोई संबंध नहीं है। यदि ईरान ने हम पर किसी भी प्रकार का हमला किया, तो अमेरिकी सशस्त्र बल पूरी ताकत के साथ आपके खिलाफ कार्रवाई करेंगे। हालांकि, हम ईरान और इजरायल के बीच एक समझौता करवा सकते हैं और इस खूनी संघर्ष को समाप्त कर सकते हैं।"
ईरान और इजरायल के बीच आपसी हमलों की श्रृंखला के बाद मिडल ईस्ट में तनाव बढ़ गया है।
रविवार को, इजरायली सेना ने ईरानी सैन्य ठिकानों पर बड़े हमले की पुष्टि की है, जिसमें ईरानी रक्षा मंत्रालय का मुख्यालय और एसपीएनडी, एक प्रमुख न्यूक्लियर रिसर्च सुविधा शामिल है। इजरायल डिफेंस फोर्स (आईडीएफ) के अनुसार, इस ऑपरेशन में उस स्थान को भी निशाना बनाया गया, जहां ईरान ने कथित तौर पर अपने न्यूक्लियर संपत्तियों को छिपाया था।
ईरान के रिवोल्यूशनरी गार्ड्स ने इजराइल के एनर्जी इन्फ्रास्ट्रक्चर और जेट फ्यूल प्रोडक्शन सुविधाओं पर जवाबी हमले की जिम्मेदारी ली है।
यरुशलम और तेल अवीव सहित प्रमुख इजरायली शहरों में हवाई हमलों के सायरन बजने की सूचना मिली है। सायरन की ये आवाजें ईरानी हमलों की गंभीरता को दर्शाती हैं।
इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने इस ऑपरेशन का समर्थन किया है। उनका कहना है कि 'इजरायल के अस्तित्व के लिए ईरानी खतरे को कम करना' आवश्यक था।
बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा, "यह ऑपरेशन तब तक जारी रहेगा, जब तक इस खतरे को समाप्त नहीं किया जाता।"
बढ़ती अशांति के बीच, ट्रंप ने अपने पूर्व रुख को दोहराया है। उन्होंने कहा कि ईरान को अपनी परमाणु महत्वाकांक्षाओं के बारे में अमेरिका के साथ कूटनीतिक बातचीत करनी चाहिए। ट्रंप ने चेतावनी दी कि "ईरान को समझौता करना चाहिए, इससे पहले कि कुछ भी न बचे।"