क्या भारत के रेल नेटवर्क में वंदे भारत ट्रेनों की संख्या 144 हो गई है?

सारांश
Key Takeaways
- वंदे भारत ट्रेनों की संख्या अब 144 हो गई है।
- ये ट्रेने तेज और सुरक्षित यात्रा का अनुभव देती हैं।
- इनमें आरामदायक सीटें और सुविधाएं उपलब्ध हैं।
- प्रधानमंत्री ने नई रूटों का उद्घाटन किया है।
- यात्री इन ट्रेनों को तेजी से पसंद कर रहे हैं।
नई दिल्ली, 10 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। भारतीय रेलवे अपने नेटवर्क में निरंतर तेज गति वाली आधुनिक ट्रेनों को जोड़ रहा है और इसी के चलते देश में ऑपरेशनल वंदे भारत ट्रेनों की संख्या 144 हो गई है।
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में बताया कि सरकार का प्राथमिक लक्ष्य देश के रेल इन्फ्रास्ट्रक्चर को आधुनिक बनाना है।
वंदे भारत सेमी हाई-स्पीड ट्रेनें हैं जिन्हें यात्रियों को तेज, सुरक्षित और अधिक आरामदायक यात्रा का अनुभव देने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
इन ट्रेनों में तेज एक्सीलरेशन, कवच सिस्टम, पूरी तरह से सीलबंद गैंगवे, ऑटोमेटिक दरवाजे और आरामदायक सीटें शामिल हैं।
यात्रियों को रिक्लाइनिंग एर्गोनॉमिक सीटें, एग्जीक्यूटिव क्लास में घूमने वाली सीटें, प्रत्येक सीट पर मोबाइल चार्जिंग सॉकेट, दिव्यांगजन यात्रियों के लिए विशेष शौचालय और बेहतर सुरक्षा के लिए सीसीटीवी निगरानी जैसी सुविधाएं भी उपलब्ध हैं।
रेल मंत्री ने कहा कि इन सेवाओं का उद्देश्य यात्रा को सुरक्षित और किफायती रखते हुए उच्च मांग वाले मार्गों पर भीड़भाड़ को कम करना है।
उन्होंने आगे बताया कि ये ट्रेनें यात्रियों के बीच तेजी से लोकप्रिय हो रही हैं। 2024-25 में, लगभग 3 करोड़ यात्रियों ने वंदे भारत एक्सप्रेस का उपयोग किया, जबकि अप्रैल और जून 2025 के बीच 93 लाख लोगों ने इस ट्रेन से यात्रा की है।
वंदे भारत सेवाओं का तेजी से विस्तार भारत में यात्री यात्रा को बदलने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो देश के कुछ सबसे व्यस्त रेल मार्गों पर गति, आराम और सुरक्षा का संयोजन प्रदान करता है।
इसके अतिरिक्त, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को बेंगलुरु और कर्नाटक के बेलगावी के बीच वंदे भारत ट्रेन सेवा का उद्घाटन किया। उन्होंने ट्रेन में सवार होकर यात्रा के दौरान छात्रों और बच्चों से बातचीत की।
प्रधानमंत्री ने रेलवे स्टेशन पर वंदे भारत ट्रेन को हरी झंडी दिखाने से पहले कर्मचारियों का अभिवादन किया।
उन्होंने दो अन्य वंदे भारत रूटों का भी शुभारंभ किया, जिसमें अमृतसर - श्री माता वैष्णो देवी कटरा के बीच नई वंदे भारत, और नागपुर (अजनी) और पुणे के बीच वंदे भारत शामिल हैं।