क्या सीएम नीतीश ने राजद पर करारा प्रहार किया?

Click to start listening
क्या सीएम नीतीश ने राजद पर करारा प्रहार किया?

सारांश

बिहार विधानसभा चुनाव के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजद पर हमला करते हुए 2005 से पहले के अराजक दौर को याद किया। जानिए उन्होंने क्या कहा और कैसे उन्होंने राज्य की कानून-व्यवस्था में सुधार किया।

Key Takeaways

  • 2005 से पहले बिहार में अराजकता का माहौल था।
  • नीतीश कुमार ने जीरो टॉलरेंस नीति अपनाई।
  • पुलिस बल की संख्या 1 लाख 25 हजार से अधिक हो गई है।
  • महिलाओं को 35% आरक्षण दिया गया है।
  • बिहार में अब विकास और न्याय हो रहा है।

पटना, 26 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार में विधानसभा चुनाव के चलते सियासी गतिविधियों में तेजी आई है। विभिन्न राजनीतिक दलों के वरिष्ठ नेताओं के बीच शब्दों की लड़ाई जारी है। इस दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राष्ट्रीय जनता दल (राजद) पर तीखा प्रहार करते हुए 2005 से पहले के बिहार के दौर को याद किया और बताया कि उन्होंने पिछले 20 वर्षों में क्या परिवर्तन किए हैं।

सीएम नीतीश कुमार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर पोस्ट करते हुए कहा कि 2005 से पहले का वह समय आप सभी को याद होगा, जब बिहार में अपराध और भ्रष्टाचार अपने चरम पर थे। हर दिशा में अराजकता का माहौल था। लोगों का घरों से बाहर निकलना मुश्किल हो गया था। शाम 6 बजे के बाद कोई भी अपने घर से बाहर नहीं निकल पाता था। हमारी बहन-बेटियां सुरक्षित नहीं थीं। राज्य में अपहरण का धंधा उद्योग का रूप ले चुका था। दिन के उजाले में शोरूम से गाड़ियां लूट ली जाती थीं।

उन्होंने कहा कि अपराधियों के डर से लोग नई गाड़ी खरीदने से कतराते थे। पैसा होते हुए भी कोई नया मकान नहीं बनाना चाहता था। रंगदारों के आतंक के कारण उद्योग धंधे ठप हो गए थे। राज्य से डॉक्टर-इंजीनियर पलायन कर रहे थे। पूरी व्यवस्था बुरी तरह से चरमरा गई थी। बिहार में कानून-व्यवस्था नाम की कोई चीज नहीं रह गई थी। अपराध को सत्ता से संरक्षण मिल रहा था और सत्ता में बैठे लोगों ने शासन-प्रशासन को पूरी तरह से पंगु बना दिया था। राज्य की जनता डर के साए में जीवन जीने को मजबूर थी। बिहारी कहलाना अपमान की बात बन गया था।

मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार की उपलब्धियों को गिनाते हुए कहा कि वर्ष 2005 में जब हमारी सरकार बनी, तो हमने सबसे पहले विधि-व्यवस्था को सर्वोच्च प्राथमिकता दी और कानून का राज स्थापित किया। हमने अपराध और भ्रष्टाचार के मामलों में जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई। अब राज्य में किसी प्रकार का डर और भय का वातावरण नहीं है। अब बिहार में प्रेम, भाईचारे और शांति का माहौल है।

सीएम नीतीश ने आगे कहा कि पहले पुलिस के पास न तो गाड़ियां थीं और न ही हथियार। हथियारों के अभाव में पुलिस का मनोबल काफी गिर गया था। वर्ष 2005 में बिहार में थानों की संख्या केवल 817 थी, जिसे बढ़ाकर अब 1380 से अधिक कर दिया गया है। पुलिस थानों के लिए आधुनिक भवन बनाए गए हैं। साथ ही, पुलिस वाहनों की संख्या भी कई गुना बढ़ाई गई है। पुलिस प्रशासन को अत्याधुनिक हथियारों से लैस किया गया है। सिपाही एवं पुलिस पदाधिकारियों की नियुक्ति को प्राथमिकता दी गई है। स्पेशल ऑग्जिलरी पुलिस (सैप) का गठन भी किया गया है।

सीएम नीतीश ने कहा कि 24 नवंबर 2005 को राज्य में नई सरकार बनने के समय बिहार पुलिस में कार्यरत बल की संख्या काफी कम थी। उस समय केवल 42 हजार 481 पुलिसकर्मी कार्यरत थे। हमारी सरकार ने वर्ष 2006 में कानून व्यवस्था को और बेहतर बनाने के लिए पुलिस बल की संख्या में वृद्धि की। वर्तमान में राज्य में पुलिस बल की संख्या 1 लाख 25 हजार से अधिक हो गई है। सरकार ने तय किया है कि पुलिस बल की संख्या को और बढ़ाया जाएगा। इसके लिए कुल 2 लाख 29 हजार से अधिक पदों का सृजन कर तेजी से पुलिसकर्मियों की बहाली की जा रही है।

उन्होंने बताया कि वर्ष 2013 से ही पुलिस में महिलाओं को 35 प्रतिशत आरक्षण का लाभ दिया गया। महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने और उनके सशक्तीकरण के लिए बिहार पुलिस में महिला सिपाहियों की बड़ी संख्या में नियुक्ति की गई। साथ ही 'आदिवासी महिला स्वाभिमान बटालियन' का गठन किया गया। बिहार पुलिस में महिलाओं की भागीदारी आज देश में सबसे अधिक है। वर्ष 2008 में राज्य सिपाही भर्ती बोर्ड का गठन किया गया और वर्ष 2017 में बिहार पुलिस अवर सेवा आयोग का गठन किया गया ताकि पुलिस बल की नियुक्ति शीघ्र हो सके। अपराध के वैज्ञानिक अनुसंधान के लिए विधि विज्ञान प्रयोगशालाओं की स्थापना की गई। आपराधिक मामलों के तेजी से निष्पादन के लिए थानों में विधि व्यवस्था और अनुसंधान को अलग किया गया।

मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि राज्य की जनता ने 2005 में ही तय कर लिया था कि उसे तरक्की की राह पर बढ़ता हुआ बिहार चाहिए। वर्ष 2005 का वह समय बिहार के लिए एक बहुत बड़ा निर्णायक मोड़ था। आज बिहार में न्याय के साथ विकास हो रहा है। युवा वर्ग को नौकरी और रोजगार मिल रहा है। बहन-बेटियों और महिलाओं के उत्थान के लिए नित्य नए कार्य किए जा रहे हैं। नया बिहार, उद्योग और बढ़ते कारोबार वाला बिहार है। बिहार में खुशहाली है। बिहार में सुशासन है। अब बिहारी कहलाना अपमान नहीं, बल्कि सम्मान की बात है। बिहार के लोग अब कभी भी उस अराजक दौर में वापस नहीं लौटेंगे।

Point of View

बल्कि यह भी दर्शाता है कि बिहार की जनता अब विकास की राह पर आगे बढ़ना चाहती है।
NationPress
26/10/2025

Frequently Asked Questions

सीएम नीतीश कुमार ने राजद पर क्या आरोप लगाया?
सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि 2005 से पहले बिहार में अपराध और भ्रष्टाचार चरम पर थे।
बिहार में कानून-व्यवस्था में सुधार कैसे हुआ?
सीएम नीतीश ने जीरो टॉलरेंस नीति अपनाई और पुलिस बल की संख्या बढ़ाई।
क्या बिहार में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर कदम उठाए गए हैं?
जी हां, बिहार पुलिस में महिलाओं को 35% आरक्षण दिया गया है।
बिहार की वर्तमान स्थिति क्या है?
बिहार में अब प्रेम, भाईचारा और शांति का माहौल है।