क्या इस्तांबुल में रूस-यूक्रेन शांति वार्ता का तीसरा दौर आज से शुरू होगा?

सारांश
Key Takeaways
- शांति वार्ता का तीसरा दौर इस्तांबुल में हो रहा है।
- रूस और यूक्रेन के बीच मतभेद गहरे हैं।
- यूक्रेन के राष्ट्रपति ने वार्ताओं की गति तेज करने का आग्रह किया है।
- रूसी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व व्लादिमीर मेडिंस्की कर रहे हैं।
- यूक्रेनी दल का नेतृत्व रुस्तम उमेरोव कर रहे हैं।
मॉस्को, 23 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। रूस और यूक्रेन के बीच लंबे समय से चल रहे युद्ध को समाप्त करने की दिशा में शांति वार्ता का तीसरा दौर इस्तांबुल में बुधवार शाम से आरंभ हो सकता है। रूसी मीडिया की रिपोर्ट के अनुसार, रूस का प्रतिनिधिमंडल इस्तांबुल के लिए रवाना हो चुका है।
रूसी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व राष्ट्रपति के सहायक व्लादिमीर मेडिंस्की कर रहे हैं, जबकि यूक्रेनी दल की अगुवाई राष्ट्रीय सुरक्षा एवं रक्षा परिषद के सचिव रुस्तम उमेरोव कर रहे हैं। उमेरोव इससे पहले यूक्रेन के रक्षा मंत्री रह चुके हैं और मई 16 तथा जून 2 को हुई वार्ताओं में भी यूक्रेनी दल का नेतृत्व कर चुके हैं।
हालांकि, पहले दो दौर की वार्ताओं में कुछ कैदियों की अदला-बदली के अलावा संघर्ष विराम पर कोई ठोस प्रगति नहीं हो सकी थी।
यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने कहा, "वार्ताओं की गति को तेज करने की आवश्यकता है। संघर्ष विराम के लिए हर संभव प्रयास किए जाने चाहिए।"
वहीं, क्रेमलिन प्रवक्ता दिमित्री पेस्कोव ने मंगलवार को कहा, "हमें किसी चमत्कारी परिणाम की उम्मीद नहीं है। मौजूदा हालात में ऐसा संभव नहीं है।"
पेस्कोव ने आगे कहा कि मास्को और कीव के बीच युद्ध समाप्त करने को लेकर "पूर्णत: विपरीत दृष्टिकोण" हैं और अभी भी "काफी काम बाकी है।"
गौरतलब है कि पिछली वार्ता के बाद रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा था कि दोनों पक्षों द्वारा प्रस्तुत शांति योजनाएं "एक-दूसरे से बिल्कुल विपरीत हैं।"
रूस की मांग है कि यूक्रेन सैन्य गठबंधनों से बाहर रहे, न्यूट्रल बने और क्रीमिया, लुहान्स्क, डोनेट्स्क, ज़ापोरीझिया और खेरसॉन को रूसी क्षेत्र के रूप में मान्यता दे। इसके जवाब में यूक्रेन का कहना है कि वह न्यूट्रल रहने के लिए बाध्य नहीं है और यूरोपीय संघ तथा नाटो की ओर बढ़ना उसका अधिकार है।