क्या ई-श्रम पोर्टल पर 31 करोड़ से अधिक असंगठित कामगार और 5 लाख से ज्यादा गिग वर्कर्स रजिस्टर हुए?
सारांश
Key Takeaways
- ई-श्रम पोर्टल पर 31.38 करोड़ असंगठित कामगार रजिस्टर हुए हैं।
- 5.09 लाख गिग वर्कर्स का भी रजिस्ट्रेशन हुआ है।
- सीधे सोशल सिक्योरिटी लाभों तक पहुंच प्रदान की जा रही है।
- नए लेबर कोड से श्रमिकों के अधिकारों का विस्तार होगा।
- महिलाओं को मातृत्व लाभ का अधिकार मिलेगा।
नई दिल्ली, 6 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। हाल ही में संसद में प्रस्तुत आंकड़ों के अनुसार, इस वर्ष नवंबर तक 31.38 करोड़ से अधिक असंगठित कामगार और 5.09 लाख से ज्यादा गिग व प्लेटफॉर्म वर्कर्स ई-श्रम पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन करवा चुके हैं।
श्रम और रोजगार मंत्रालय ने ई-श्रम (असंगठित कामगारों का नेशनल डाटाबेस) पोर्टल को 26 अगस्त, 2021 को लॉन्च किया था। इस पोर्टल का मुख्य उद्देश्य असंगठित, गिग और प्लेटफॉर्म वर्कर्स को सेल्फ डिक्लेरेशन आधार पर यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (यूएएन) प्रदान कर उन्हें रजिस्टर करना है।
केंद्रीय श्रम और रोजगार राज्यमंत्री शोभा करंदलाजे के अनुसार, सोशल सिक्योरिटी, स्वास्थ्य और कल्याण योजनाओं तक पहुंच प्रदान करने के लिए विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों और विभागों की 14 योजनाओं को ई-श्रम पोर्टल से जोड़ा गया है।
केंद्रीय राज्य मंत्री ने बताया कि भारत सरकार ने वित्त वर्ष 2025-26 के बजट में ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के गिग वर्कर्स के कल्याण के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। इसमें ई-श्रम पोर्टल के माध्यम से रजिस्ट्रेशन, पहचान पत्र जारी करना और आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत स्वास्थ्य सेवाओं के लाभ प्रदान करना शामिल है।
इसके अलावा, केंद्र सरकार रोजगार सृजन के साथ युवाओं और महिलाओं की रोजगार-क्षमता बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित कर रही है। देश में रोजगार सृजन की कई योजनाएं और कार्यक्रम लागू किए जा रहे हैं, जिनमें प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई), स्टैंडअप इंडिया, स्टार्टअप इंडिया, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम और वूमेन इन साइंस एंड इंजीनियरिंग-किरण (वाइज-किरण) शामिल हैं।
केंद्र की ओर से चार लेबर कोड को 21 नवंबर 2025 से प्रभावी किया गया है। ये लेबर कोड औपचारिक रोजगार और सोशल सिक्योरिटी कवरेज को बढ़ाने के साथ-साथ देश में समग्र श्रमिक कल्याण के लिए लॉन्ग-टर्म स्ट्रैटेजी प्रस्तुत करते हैं।
इन नए लेबर कोड्स के साथ सभी नौकरियों के लिए न्यूनतम मजदूरी का भुगतान सुनिश्चित किया गया है, वेतन का समय पर भुगतान अनिवार्य किया गया है और श्रमिकों की मुफ्त सालाना स्वास्थ्य जांच अनिवार्य की गई है। साथ ही, गिग और प्लेटफॉर्म वर्कर्स सहित अस्थाई कर्मचारियों के लिए सामाजिक सुरक्षा का विस्तार किया गया है। महिला कामगारों के लिए नए लेबर कोड उन्हें मातृत्व लाभ प्राप्त करने का अधिकार प्रदान करते हैं।