क्या साकिब सलीम ने 'चीट डे' पर बिरयानी का आनंद लिया?

सारांश
Key Takeaways
- साकिब सलीम ने 8 हफ्तों बाद अपना पहला चीट मील लिया।
- बिरयानी साकिब का सबसे पसंदीदा खाना है।
- फिटनेस के प्रति जागरूकता जरूरी है।
- खाने की मात्रा का ध्यान रखना चाहिए।
- साकिब ने अपने अनुभव को इंस्टाग्राम पर साझा किया।
मुंबई, २५ जून (राष्ट्र प्रेस)। अभिनेता साकिब सलीम हाल ही में आई वेब सीरीज 'क्राइम बीट' में अपने किरदार को मिलने वाली सराहना का आनंद ले रहे हैं। इस बीच, उन्होंने खुलासा किया कि वह पिछले आठ हफ्तों से हेल्दी डाइट पर हैं, लेकिन उन्होंने अपनी डाइट को तोड़ते हुए पहला चीट मील लिया है।
बुधवार को साकिब सलीम ने अपने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो साझा किया। वीडियो में वह आराम से सोफे पर बैठे हैं और बिरयानी का पैकेट खोलते हुए नजर आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि उन्होंने 8 हफ्ते पहले से कार्ब्स खाना बंद कर दिया था और अब वह स्वादिष्ट बिरयानी का मजा ले रहे हैं।
वीडियो में फिटनेस के प्रति जागरूकता को बढ़ाते हुए साकिब ने कहा कि खाना हमेशा संतुलित मात्रा में लेना चाहिए।
उन्होंने आगे कहा कि हर व्यक्ति को सब कुछ खाना चाहिए, लेकिन मात्रा का ध्यान रखना आवश्यक है। अभिनेता साकिब सलीम, प्रसिद्ध रेस्टोरेंट के मालिक सलीम कुरैशी के बेटे हैं।
साकिब ने साझा किया कि बिरयानी उनका सबसे पसंदीदा भोजन है। उन्होंने अपनी प्लेट की बिरयानी पूरी तरह से समाप्त कर दी है। प्लेट में चावल का एक भी दाना नहीं बचा है।
वीडियो साझा करते हुए उन्होंने कैप्शन में लिखा, ''जो लोग पूछ रहे हैं कि बिरयानी की तस्वीरें कहां हैं... आपके लिए पूरा वीडियो आया है!! थोड़ा हल्ला-गुल्ला हो जाए? अगली बार चीट मील में क्या खाना खाऊं? कमेंट में बताओ।''
इससे पहले, साकिब सलीम ने अपने इंस्टाग्राम पर एक भावुक कविता भी साझा की थी। उन्होंने एक वीडियो भी पोस्ट किया था जिसमें वह अपनी आवाज में कविता पढ़ते हुए सुनाई दे रहे थे। इस वीडियो में साकिब मुंबई के विभिन्न स्थानों पर दिखते हैं, जैसे रेलवे स्टेशन, समुद्र किनारे, और मशहूर 'काली पीली' टैक्सियों में। इस वीडियो में वह इंसान के जीवन और अस्तित्व पर सवाल उठाते हैं कि इस बड़े ब्रह्मांड में इंसान की जगह आखिर कहां है।
वह कहते हैं, ''मैं कौन हूं? मैं क्या हूं? मैं क्यों हूं? मेरी पहचान क्या है? क्या मैं सच में हूं या नहीं? क्या मैं किसी को देख पाता हूं? शायद मैं खो गया हूं? क्या मैं कुछ खास नहीं हूं, क्या मैं भी भीड़ का हिस्सा हूं? मुझे क्या चाहिए और मैं अपने सपनों से क्यों भाग रहा हूं? मेरे अंदर क्या है? क्या ये सपने हैं या गुस्सा है?''