क्या अमेरिका ने अशांति फैलाने के लिए इजरायल को अपने पालतू जानवर के रूप में छोड़ा है?: सपा नेता एसटी हसन

Click to start listening
क्या अमेरिका ने अशांति फैलाने के लिए इजरायल को अपने पालतू जानवर के रूप में छोड़ा है?: सपा नेता एसटी हसन

सारांश

अमेरिका और इजरायल के बीच के संबंधों पर एक गंभीर नज़र डालते हुए, एसटी हसन का बयान देश में विवाद पैदा कर रहा है। क्या वाकई अमेरिका ने इजरायल को अपने पालतू जानवर के रूप में छोड़ दिया है? जानिए इस मुद्दे पर विभिन्न दलों की राय और भारत की स्थिति।

Key Takeaways

  • इजरायल-ईरान संघर्ष गंभीर स्थिति में पहुँचा है।
  • अमेरिका इजरायल का समर्थन कर रहा है।
  • भारत ने संतुलित नीति अपनाई है।
  • विपक्षी नेताओं का ईरान के समर्थन में बयान।
  • एसटी हसन का इजरायल को अमेरिका का पालतू जानवर कहना।

मुरादाबाद, 22 जून (राष्ट्र प्रेस)। इजरायल और ईरान के बीच का संघर्ष गंभीर रूप लेता जा रहा है। अमेरिका, जो इजरायल के साथ है, वहीं भारत सरकार ने इस समय संतुलित नीति अपनाई है और दोनों पक्षों से शांति की अपील की है। दूसरी ओर, विपक्षी पार्टियों के नेता ईरान के समर्थन में खुले तौर पर बोल रहे हैं। समाजवादी पार्टी के पूर्व सांसद एसटी हसन ने इजरायल को अमेरिका का पालतू जानवर करार दिया है।

समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बात करते हुए एसटी हसन ने कहा, “इजरायल की अपनी कोई हैसियत नहीं है। अमेरिका इस युद्ध में शुरू से इजरायल के साथ है। रविवार को उसने ईरान के परमाणु संयंत्रों को गंभीर नुकसान पहुंचाया।” उन्होंने आगे कहा, “ट्रंप नोबेल पुरस्कार की चाह रखते हैं, लेकिन दूसरी ओर बम गिरा रहे हैं। उन्होंने अशांति फैलाने के लिए अपने पालतू जानवर इजरायल को छोड़ दिया है।”

कांग्रेस की ओर से ईरान का समर्थन करने की बात को सही मानते हुए एसटी हसन ने कहा, “भारत में मुसलमानों की बड़ी संख्या है। उनके जज्बात ईरान के साथ जुड़ते हैं। ईरान ने हमेशा हमारा साथ दिया है। इजरायल ने मुसलमानों पर अत्याचार किए हैं, जो पहले कभी नहीं हुए। फिर भी सरकार इजरायल को क्यों सहन कर रही है?”

गौरतलब है कि कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने एक लेख में भारत सरकार से ईरान-इजरायल युद्ध में ईरान का समर्थन करने की मांग की है। उन्होंने लिखा, “गाजा और ईरान में इजरायल ने तबाही मचाई है। भारत सरकार को अपनी चुप्पी तोड़नी चाहिए और ईरान में हो रहे हमलों पर स्पष्ट और मजबूत आवाज उठानी चाहिए। अब भी देर नहीं हुई है।”

Point of View

हमें यह समझना चाहिए कि भारत की विदेश नीति किसी भी पक्ष के प्रति पूर्वाग्रह से मुक्त होनी चाहिए। हमारे देश के हित हमेशा प्राथमिकता में रहेंगे, चाहे वह इजरायल हो या ईरान। हमें शांति और सहिष्णुता की दिशा में आगे बढ़ना चाहिए।
NationPress
22/06/2025

Frequently Asked Questions

इजरायल और ईरान के बीच संघर्ष का मुख्य कारण क्या है?
इजरायल और ईरान के बीच संघर्ष का मुख्य कारण क्षेत्रीय शक्ति संतुलन और राजनीतिक मतभेद हैं।
भारत की इस संघर्ष में क्या भूमिका है?
भारत ने इस स्थिति में संतुलित नीति अपनाई है और दोनों पक्षों से शांति की अपील की है।
एसटी हसन का बयान कितना प्रभावी है?
एसटी हसन का बयान राजनीतिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह मौजूदा संघर्ष पर ध्यान आकर्षित करता है।
क्या अमेरिका का इजरायल के साथ संबंध सही है?
अमेरिका का इजरायल के साथ संबंध उसकी विदेश नीति का एक हिस्सा है, जो कई विवादों को जन्म देता है।
कांग्रेस का ईरान के प्रति समर्थन क्यों है?
कांग्रेस का ईरान के प्रति समर्थन भारतीय मुसलमानों के जज्बात से जुड़ा हुआ है, जो ईरान को समर्थन देते हैं।