क्या गुरुग्राम में नौसेना का नवीनतम नेवल बेस 'आईएनएस अरावली' कमीशन हुआ?

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क्या गुरुग्राम में नौसेना का नवीनतम नेवल बेस 'आईएनएस अरावली' कमीशन हुआ?

सारांश

गुरुग्राम में भारतीय नौसेना का नवीनतम नेवल बेस 'आईएनएस अरावली' का कमीशन हुआ है। यह बेस नौसेना की सामरिक क्षमताओं को बढ़ाएगा। जानें इस बेस के महत्व और समारोह के खास लम्हों के बारे में।

Key Takeaways

  • आईएनएस अरावली का कमीशन भारतीय नौसेना के लिए एक नई शुरुआत है।
  • यह बेस समुद्री सुरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
  • नौसेना का आदर्श वाक्य 'सामुद्रिकसुरक्षायाः सहयोगं' है।
  • यह आधुनिक तकनीक और सहयोग का केंद्र बनेगा।
  • गुरुग्राम में स्थापित यह नेवल बेस भारत की सामरिक क्षमताओं को बढ़ाएगा।

नई दिल्ली, 12 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। भारतीय नौसेना का नवीनतम नेवल बेस 'आईएनएस अरावली' शुक्रवार को गुरुग्राम में एक भव्य समारोह के तहत कमीशन किया गया। इस समारोह में नौसेना प्रमुख एडमिरल दिनेश के त्रिपाठी ने भाग लिया। यह नौसैनिक बेस, जिसका नाम अरावली पर्वत श्रृंखला पर रखा गया है, भारतीय नौसेना की विभिन्न सूचना और संचार केंद्रों को सहयोग प्रदान करेगा।

गुरुग्राम में स्थापित यह नेवल बेस भारत और भारतीय नौसेना की कमांड, कंट्रोल और मैरिटाइम डोमेन अवेयरनेस व्यवस्था की नींव है। इस कमिशनिंग समारोह के दौरान, नौसेना प्रमुख ने 50 सदस्यीय गार्ड ऑफ ऑनर को सम्मानित किया। कैप्टन सचिन कुमार सिंह को आईएनएस अरावली का पहला कमांडिंग ऑफिसर नियुक्त किया गया। उन्होंने संस्कृत में वैदिक प्रार्थना का उच्चारण किया और कमीशनिंग वारंट का वाचन किया। इसके बाद, नौसेना पत्नियों के कल्याण संघ की अध्यक्ष शशि त्रिपाठी ने कमीशनिंग पट्टिका का अनावरण किया।

इस अवसर पर, राष्ट्रगान की धुन पर नौसेना ध्वज फहराया गया और कमीशनिंग पेनन्ट को मस्तूल पर चढ़ाया गया। गुरुग्राम नेवल बेस पर अपने संबोधन में, नौसेना प्रमुख ने कहा, “आईएनएस अरावली नौसेना के लिए प्रशासनिक और लॉजिस्टिक सहयोग की मजबूत नींव है। यह नौसैनिक अड्डा, तकनीक और सहयोग दोनों का केंद्र बनेगा, जो प्रधानमंत्री के 'महासागर' दृष्टिकोण को साकार करेगा। यह भारत की भूमिका को हिंद महासागर क्षेत्र में एक 'प्रिफर्ड सिक्योरिटी पार्टनर' के रूप में और अधिक सशक्त बनाएगा।”

उन्होंने कमांडिंग ऑफिसर और कमीशनिंग क्रू को बधाई दी और नौसेना के मूल्यों, कर्तव्य, सम्मान और साहस को आत्मसात करने का आह्वान किया। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि वे इन्फ़ॉर्मेशन डोमिनेंस के माध्यम से उत्कृष्टता की ओर अग्रसर होंगे।

गौरतलब है कि भारतीय नौसेना के इस नेवल बेस का आदर्श वाक्य 'सामुद्रिकसुरक्षायाः सहयोगं' अर्थात सहयोग के ज़रिए समुद्री सुरक्षा है। यह नौसैनिक इकाइयों, एमडीए केंद्रों और साझेदारों के साथ सहजता से कार्य करने का प्रतीक है।

आईएनएस अरावली का क्रेस्ट पर्वत की आकृति को दर्शाता है, जो अरावली की दृढ़ता और स्थिरता का प्रतीक है। इसमें उगते सूर्य का चित्रण सतत सतर्कता, ऊर्जा और संचार व मैरिटाइम डोमेन अवेयरनेस क्षेत्र में अत्याधुनिक तकनीकी क्षमताओं के उदय का प्रतिनिधित्व करता है।

शुक्रवार को गुरुग्राम में नेवल बेस की कमिशनिंग के अवसर पर उपनौसेना प्रमुख वाइस एडमिरल संजय वात्सायन, उपनौसेना प्रमुख वाइस एडमिरल तरुण सोबती, अन्य वरिष्ठ नौसैनिक अधिकारी और विशिष्ट अतिथि भी उपस्थित रहे।

Point of View

बल्कि भारत को एक मजबूत सुरक्षा साझेदार के रूप में स्थापित करेगा। यह आधुनिक तकनीक और सहयोग का केंद्र बनेगा, जो समुद्री सुरक्षा को सुनिश्चित करेगा।
NationPress
12/09/2025

Frequently Asked Questions

आईएनएस अरावली का महत्व क्या है?
आईएनएस अरावली भारतीय नौसेना के लिए सामरिक और लॉजिस्टिक सहयोग का एक महत्वपूर्ण केंद्र है।
इस नेवल बेस का नाम क्यों रखा गया है?
यह बेस अरावली पर्वत श्रृंखला के नाम पर रखा गया है, जो स्थिरता और दृढ़ता का प्रतीक है।
इस समारोह में कौन-कौन शामिल हुए थे?
समारोह में नौसेना प्रमुख, उपनौसेना प्रमुख और अन्य वरिष्ठ नौसैनिक अधिकारी उपस्थित थे।