क्या पूरे बिहार में 'वोटर अधिकार यात्रा' का प्रभाव है? : संजय राउत

सारांश
Key Takeaways
- वोटर अधिकार यात्रा का प्रभाव बिहार में महसूस किया जा रहा है।
- संजय राउत ने वोट चोरी के आरोप लगाए हैं।
- बिहार में युवाओं का पलायन एक गंभीर समस्या है।
- चुनाव आयोग एसआईआर को पूरे देश में लागू करने की योजना बना रहा है।
- राजनीतिक दलों के बीच प्रतिस्पर्धा बढ़ रही है।
मुंबई, 7 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर राजनीति का माहौल गरमाया हुआ है। विपक्ष के नेता लगातार एनडीए और चुनाव आयोग पर ‘वोट चोरी’ के आरोप लगा रहे हैं। इसी बीच, शिवसेना (यूबीटी) के सांसद संजय राउत ने भी अपनी बात रखी।
पत्रकारों से बात करते हुए संजय राउत ने कहा, "अब चर्चा चुनाव आयोग के बारे में हो रही है, या उनके खिलाफ, एसआईआर के खिलाफ जो आंदोलन चल रहा है, वह जारी रहेगा। हमने एसआईआर का विरोध किया है।"
उन्होंने आगे कहा कि जिस प्रकार बिहार जैसे राज्य में ‘वोट चोरी’ हो रही है, लाखों नहीं, करोड़ों मतदाताओं को वोटर लिस्ट से हटाया जा रहा है, यह एक गंभीर समस्या है। इस मुद्दे पर राहुल गांधी द्वारा निकाली गई ‘वोटर अधिकार यात्रा’ का प्रभाव पूरे बिहार में महसूस किया जा रहा है।
तेजस्वी यादव का समर्थन करते हुए राउत ने कहा कि तेजस्वी यादव ने सही कहा है। बिहार को पिछले 11 वर्षों में क्या मिला, आप मुझे बताइए? आज भी बिहार में युवाओं का पलायन जारी है। अगर सरकार ने 11 वर्षों में कुछ किया होता, तो यह पलायन नहीं होता। लोगों को अपने गांवों, शहरों और राज्यों में रोजगार मिलता।
इसी बीच, बिहार में मतदाता सूचियों के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) पर मचे घमासान के बीच भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) अब इसे पूरे देश में लागू करने पर विचार कर रहा है।
सूत्रों के अनुसार, चुनाव आयोग ने 10 सितंबर को दिल्ली में सभी राज्यों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (सीईओ) की एक बैठक बुलाई है।
इस बैठक में इस मुद्दे पर गहराई से चर्चा की जाएगी। इसमें मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) ज्ञानेश कुमार के अलावा सभी राज्यों के चुनाव आयुक्त और अन्य वरिष्ठ अधिकारी शामिल होंगे।