क्या आपने अमरनाथ यात्रा में 2.20 लाख श्रद्धालुओं के दर्शन किए?

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क्या आपने अमरनाथ यात्रा में 2.20 लाख श्रद्धालुओं के दर्शन किए?

सारांश

अमरनाथ यात्रा में श्रद्धालुओं का उत्साह कम नहीं हो रहा है। 2.20 लाख श्रद्धालुओं ने बाबा बर्फानी के दर्शन किए। जम्मू से 6,388 तीर्थयात्रियों का जत्था कश्मीर के लिए रवाना हुआ। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।

Key Takeaways

  • अमरनाथ यात्रा में 2.20 लाख श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।
  • जम्मू से 6,388 तीर्थयात्री कश्मीर रवाना हुए।
  • सुरक्षा के लिए 180 अतिरिक्त सीएपीएफ कंपनियाँ तैनात की गई हैं।
  • यात्रा 3 जुलाई से 9 अगस्त तक चलेगी।
  • इस वर्ष हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध नहीं है।

श्रीनगर, 15 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। अमरनाथ यात्रा को लेकर लोगों में जबरदस्त उत्साह देखने को मिल रहा है। पिछले 12 दिनों में 2.20 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने बाबा बर्फानी के दर्शन किए हैं। इसके साथ ही मंगलवार को जम्मू से 6,388 तीर्थयात्रियों का एक और जत्था अमरनाथ यात्रा के लिए कश्मीर रवाना हुआ।

अधिकारियों ने बताया कि 3 जुलाई से शुरू हुई अमरनाथ यात्रा के बाद से अब तक 2.20 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने बाबा बर्फानी के दर्शन किए हैं।

मंगलवार को भगवती नगर यात्री निवास से 6,388 यात्रियों का एक और जत्था दो काफिलों में कश्मीर घाटी के लिए रवाना हुआ। पहला काफिला, जिसमें 103 वाहनों में 2,501 यात्री थे, सुबह 3:26 बजे बालटाल बेस कैंप के लिए निकला। दूसरा काफिला, जिसमें 145 वाहनों में 3,887 यात्री थे, सुबह 4:15 बजे नुनवान (पहलगाम) बेस कैंप के लिए रवाना हुआ।

मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों में जम्मू-कश्मीर में हल्की से मध्यम बारिश की भविष्यवाणी की है। अधिकारियों ने कहा कि बालटाल और नुनवान (पहलगाम) बेस शिविरों से यात्रियों को पवित्र गुफा की ओर जाने की अनुमति मौसम की स्थिति देखने के बाद ही दी जाएगी।

अमरनाथ यात्रा के लिए प्रशासन की ओर से सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। यह यात्रा पहलगाम हमले के बाद हो रही है, जिसमें पाकिस्तान समर्थित आतंकियों ने 26 नागरिकों की हत्या कर दी थी।

180 अतिरिक्त सीएपीएफ कंपनियों को सेना, बीएसएफ, सीआरपीएफ, एसएसबी और स्थानीय पुलिस की मौजूदा ताकत बढ़ाने के लिए लाया गया है। जम्मू के भगवती नगर यात्री निवास से गुफा मंदिर तक के पूरे रास्ते और दोनों आधार शिविरों के रास्ते में सभी पारगमन शिविरों को सुरक्षा बलों ने सुरक्षित कर लिया है।

पहलगाम मार्ग का उपयोग करने वाले लोग चंदनवाड़ी, शेषनाग और पंचतरणी से होकर गुफा मंदिर तक पहुंचते हैं और 46 किलोमीटर की पैदल दूरी तय करते हैं।

तीर्थयात्रियों को गुफा मंदिर तक पहुंचने में चार दिन लगते हैं। वहीं, छोटे बालटाल मार्ग का उपयोग करने वालों को गुफा मंदिर तक पहुंचने के लिए 14 किलोमीटर की पैदल यात्रा करनी पड़ती है और यात्रा पूरी करने के बाद उसी दिन आधार शिविर लौटना पड़ता है। सुरक्षा कारणों से इस वर्ष यात्रियों के लिए कोई हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध नहीं है।

अमरनाथ यात्रा 3 जुलाई को शुरू हुई और 38 दिनों के बाद 9 अगस्त को समाप्त होगी, जो श्रावण पूर्णिमा और रक्षा बंधन का दिन है।

श्री अमरनाथ जी यात्रा भक्तों के लिए सबसे पवित्र धार्मिक तीर्थयात्राओं में से एक है, क्योंकि किंवदंती है कि भगवान शिव ने इस गुफा के अंदर माता पार्वती को शाश्वत जीवन और अमरता के रहस्य बताए थे।

Point of View

सुरक्षा के पुख्ता इंतजामों के बीच, लाखों लोग इस यात्रा में शामिल हो रहे हैं। यह एक धार्मिक आस्था का प्रतीक है और हमें इसे एकजुटता के साथ मनाना चाहिए।
NationPress
21/07/2025

Frequently Asked Questions

अमरनाथ यात्रा कब शुरू हुई?
अमरनाथ यात्रा 3 जुलाई 2023 को शुरू हुई।
क्या इस वर्ष हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध है?
सुरक्षा कारणों से इस वर्ष यात्रियों के लिए कोई हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध नहीं है।
अमरनाथ यात्रा कितने दिन चलेगी?
अमरनाथ यात्रा 38 दिनों तक चलेगी और 9 अगस्त 2023 को समाप्त होगी।
अमरनाथ यात्रा की दूरी कितनी है?
पहलगाम मार्ग से गुफा मंदिर तक की दूरी 46 किलोमीटर है।
अमरनाथ यात्रा में सुरक्षा के क्या इंतजाम हैं?
अमरनाथ यात्रा के लिए 180 अतिरिक्त सीएपीएफ कंपनियों को सुरक्षा के लिए लगाया गया है।