क्या रामपुर में एसआईआर में गलत जानकारी देने पर पहला मुकदमा दर्ज हुआ?

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क्या रामपुर में एसआईआर में गलत जानकारी देने पर पहला मुकदमा दर्ज हुआ?

सारांश

रामपुर में एसआईआर फॉर्म में गलत जानकारी देने पर एक महिला और उसके दो बेटों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। यह उत्तर प्रदेश में ऐसा पहला मामला है, जो गंभीरता से उठाया गया है। जानिए इस मामले की पूरी जानकारी।

Key Takeaways

  • एसआईआर फॉर्म में गलत जानकारी देना दंडनीय अपराध है।
  • कानूनी कार्रवाई के लिए सही जानकारी का होना आवश्यक है।
  • मतदाता को अपने विवरण अद्यतन करने के लिए बीएलओ से संपर्क करना चाहिए।
  • इस मामले ने निर्वाचन प्रक्रिया में पारदर्शिता की आवश्यकता को उजागर किया है।
  • गलत जानकारी देने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

रामपुर, 6 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। रामपुर के जिलाधिकारी ने एसआईआर फॉर्म में फर्जीवाड़ा सामने आने पर एक महिला और विदेश में रहने वाले उसके दो बेटों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। यह उत्तर प्रदेश में इस तरह का पहला मामला है। सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी की शिकायत पर पुलिस ने तीनों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है।

जांच में यह खुलासा हुआ कि एसआईआर फॉर्म में महिला ने अपने बेटों के नाम पर गलत जानकारी दी थी और फर्जी हस्ताक्षर भी किए थे। डिजिटाइजेशन के दौरान बीएलओ को पूरा मामला संदिग्ध लगा, जिसके बाद जांच में फर्जीवाड़ा उजागर हुआ।

भारत निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों के अनुसार प्रदेश भर में एसआईआर का कार्य पूरी गंभीरता और पारदर्शिता के साथ जारी है। इसी दौरान रामपुर में एसआईआर फॉर्म में गलत जानकारी भरने का मामला सामने आया।

रामपुर के जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी ने बताया कि विधानसभा क्षेत्र–37, रामपुर के भाग संख्या–248 में बीएलओ द्वारा मतदाताओं से प्राप्त गणना प्रपत्रों का डिजिटाइजेशन किया जा रहा था। इसी प्रक्रिया में यह फर्जीवाड़ा पकड़ा गया।

जिलाधिकारी के अनुसार जांच में यह पता चला कि मतदाता क्रमांक 645 आमिर (वर्तमान में दुबई में) और मतदाता क्रमांक 648 दानिश (वर्तमान में कुवैत में) के नाम पर जो फॉर्म भरे गए थे, वे उनकी मां नूरजहां ने भरकर जमा किए थे। महिला ने वास्तविक स्थिति छिपाई और जानबूझकर गलत जानकारी देकर नियमों का उल्लंघन किया।

जिलाधिकारी के निर्देश पर सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी ने इन तीनों के खिलाफ संबंधित थाने में एफआईआर दर्ज कराई है।

इस घटना के बाद लोगों से कहा गया है कि यदि किसी मतदाता का नाम दो स्थानों पर दर्ज है, तो वह फॉर्म केवल उसी स्थान पर भरे जहां वह वास्तव में रहता है। गलत जानकारी देना, तथ्य छिपाना या दो जगहों पर फॉर्म भरना निर्वाचन आयोग के नियमों के तहत दंडनीय अपराध है। ऐसे मामलों में दोषियों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

जो लोग गलती से दो स्थानों से फॉर्म भरे हैं, वे अपने बीएलओ से संपर्क कर रोलबैक विकल्प के तहत संशोधन करा सकते हैं। यदि किसी प्रकार की त्रुटि फिर भी पाई जाती है, तो दोषियों पर कठोर और अनिवार्य कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

रामपुर जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी ने अपील की है कि एसआईआर प्रक्रिया की पारदर्शिता और निष्पक्षता बनाए रखने के लिए सभी मतदाता अपनी जानकारी सत्य, सटीक और अद्यतन प्रस्तुत करें। किसी भी प्रकार की गलत जानकारी, तथ्य छिपाने या अनुचित विवरण देने से पूरी तरह बचें।

Point of View

ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचा जा सके।
NationPress
06/12/2025

Frequently Asked Questions

रामपुर में एसआईआर फॉर्म में गलत जानकारी देने का मामला क्या है?
यह मामला एक महिला और उसके दो बेटों के खिलाफ है, जिन्होंने एसआईआर फॉर्म में गलत जानकारी दी थी।
क्या यह मामला उत्तर प्रदेश में पहला है?
हाँ, यह उत्तर प्रदेश में इस तरह का पहला मामला है।
क्या इस मामले में कड़ी कानूनी कार्रवाई होगी?
जी हाँ, गलत जानकारी देने वालों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
मतदाता किस प्रकार से अपनी जानकारी अद्यतन कर सकते हैं?
मतदाता अपने बीएलओ से संपर्क कर रोलबैक विकल्प के तहत संशोधन करा सकते हैं।
इस घटना से निर्वाचन आयोग पर क्या प्रभाव पड़ेगा?
यह घटना निर्वाचन आयोग की पारदर्शिता पर सवाल उठाती है और भविष्य में सुधार की आवश्यकता को इंगित करती है।
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